योगी आदित्यनाथ को बड़ा झटका, हिंदू युवा वाहिनी लड़ेगी लोकसभा चुनाव, नरेंद्र मोदी के छूटे पसीने
हिंदू युवा वाहिनी भारत के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुनील सिंह ने एक प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि कहा कि 2002 में हियुवा का गठन हुआ था। आज उसका विस्तार पूरे भारत में हो चुका है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ आज भी उनके संगठन के संरक्षक है। सुनील सिंह ने कहा कि भाजपा अगर अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के मुद्दे से भटकेगी, तो उसके खिलाफ 2019 में प्रत्याशी उतारेंगे। उन्होंने कहा कि हिंदू युवा वाहिनी हिन्दुत्व मान-सम्मान और स्वाभिमान के लिए सदैव संघर्ष करती चली आ रही है। 2002 में हम लोगों ने हिंदू उत्पीड़न की बढ़ती हुई घटनाओं को देख करके गोरखपुर में हियुवा की शुरुआत की थी। सुनील सिंह ने कहा कि आज जब पूरा समाज संक्रमण काल के दौर से गुजर रहा है। हिन्दुत्व मान-सम्मान और स्वाभिमान की बात करने वाला कोई नहीं है। राम के मंदिर की बात करने वाला साम्प्रदायिक कहा जा रहा है। ऐसे में आवश्यकता है कि सम्पूर्ण भारत के नौजवानों को हिन्दुत्व मान-सम्मान, स्वाभिमान, अयोध्या में राम मंदिर निर्माण, देश में समान नागरिक संहिता लागू करने, गो-हत्या पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने और जनसंख्या नियंत्रण कानून लागू करने के लिए एक बार फिर संगठित किया जाय। गोरखपुर हियुवा से अलग होने के सवाल पर उन्होंने कहा कि ये वही हियुवा है, जिसमें मैं था। मैंने हियुवा को खड़ा किया था, महानगर का संयोजक था। उन्होंने कहा कि मैं उत्तर प्रदेश का अध्यक्ष था, आज भारत का अध्यक्ष हूं। उन्होंने कहा कि योगी आदित्यनाथ 100 करोड़ हिन्दुओं के संरक्षक हैं। हमारे भी संरक्षक योगी आदित्यनाथ हैं। उन्होंने कहा कि हमारा महामंत्री हमको बाहर करे, ये किसी संविधान में नहीं लिखा गया है। हमने 2016 में ही पीके मल्ल को बाहर कर दिया था। उन्होंने कहा कि राम मंदिर के निर्माण की घोषणा और राम मंदिर के निर्माण के लिए नींव खनने का काम अगर भाजपा नहीं करेगी, तो बहुत स्पष्ट तरीके से कहता हूं कि 2019 में भाजपा की नींव हिंदू समाज और नौजवान खनने का काम करेगा। सभी हिन्दू संगठन मिल कर अपने प्रत्याशी को उतारकर राम मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त करेंगे। भाजपा के खिलाफ प्रत्याशी उतारने के सवाल पर उन्होंने कहा कि जरूर प्रत्याशी उतारेंगे, अगर राम मंदिर पर भाजपा अपना स्पष्ट रवैया प्रदर्शित नहीं करती है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा नकारे जाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि योगी जी ने उन्हें नहीं नकारा है। उनके मुख्यमंत्री बनने के बाद ऐसा कोई उदाहरण प्रस्तुत कर दिया जाए तो मैं मान लूंगा कि उन्होंने अपने चेले को नकार दिया है। उन्होंने यहां तक कहा कि उनकी योगी आदित्यनाथ से लगातार मुलाकात होती है। विभिन्न आयोजनों पर मेरी उनसे मुलाकात होती है। वे मेरे साथ ही नहीं 100 करोड़ हिन्दुओं के साथ हैं।